Advertisement
Ad
ख़बर शेयर करें -

परिजन ने शव गेट पर रखकर किया प्रदर्शन

सितारगंज: सितारगंज के निजी अस्पताल में प्रसव कराने के तीन घंटे बाद 27 वर्षीय उर्मिला देवी की मौत हो गई। परिजन अस्पताल प्रशासन और डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए हंगामा करने लगे। मंगलवार की दोपहर आक्रोशित परिजन और ग्रामीणों ने अस्पताल गेट पर शव रखकर धरना दिया।
जानकारी के अनुसार, लक्ष्मी झाला, कल्याणपुर निवासी उर्मिला देवी को मंगलवार सुबह प्रसव के लिए उप जिला चिकित्सालय लाया गया। परिजनों ने बताया कि अस्पताल कर्मचारियों ने महिला चिकित्साधिकारी से संपर्क कराया। चिकित्साधिकारी ने अवकाश होने का हवाला देते हुए महिला को अपने क्लिनिक के रास्ते निजी केयर हॉस्पिटल, गौरीखेड़ा भेज दिया। वहां ऑपरेशन के माध्यम से नवजात को जन्म दिया गया।
परिजनों का कहना है कि अस्पताल प्रशासन और डॉक्टर की लापरवाही से महिला की स्थिति गंभीर हो गई। उसे हायर सेंटर ले जाते समय रास्ते में ही उर्मिला ने दम तोड़ दिया।
महिला की मौत की खबर लगते ही ग्रामीण और परिजन अस्पताल पहुंचे और शव को गेट पर रखकर हंगामा करने लगे। पुलिस ने आक्रोशित भीड़ को समझाकर पंचनामा भरकर शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा। नायब तहसीलदार नरेंद्र गहतोड़ी की मौजूदगी में सायं 5.30 बजे पंचनामा भरा गया।
भीम आर्मी जिलाध्यक्ष सतेंद्र कुमार ने निजी और सरकारी अस्पताल प्रशासन में गठजोड़ कर मरीजों को निजी अस्पतालों में भेजने का आरोप लगाते हुए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
उप जिला चिकित्सालय के अधीक्षक डॉ. कुलदीप यादव ने बताया कि संविदा पर तैनात महिला डॉक्टर ने इस्तीफा दे दिया है और अस्पताल की लापरवाही की जांच की जाएगी। सीएमओ डॉ. केके अग्रवाल ने कहा कि दोषी पाए जाने पर निजी अस्पताल को सील किया जा सकता है।
केयर हॉस्पिटल के प्रबंधक डॉ. हरजिंदर सिंह ने आरोपों को निराधार बताया और कहा कि डिलीवरी के बाद महिला को ग्लोबल हॉस्पिटल, किच्छा रेफर किया गया था, जहां रास्ते में ही महिला ने दम तोड़ दिया।

Comments